एक्सक्लूसिव: आधा बीघा जमीन, 120 किसान और इसी पर पैदा करके बेच दिया कई हजार कुंतल गेहूं और धान



बी.के.सिंह/संधीर शर्मा। यह सच है कि यूपी सरकार ने किसानों से एमएसपी (MSP) पर धान और गेहूं खरीदने में सपा और बसपा के 10 साल के रिकार्ड को महज 4 साल में ही तोड़ दिया है। लेकिन यह भी सच है कि अफसरों और राशन माफियाओं के गठजोड़ से भ्रष्टाचार और जालसाजी के भी सारे रिकार्ड टूट गये हैं। फिलहाल आज हम जो खुलासा करने जा रहे हैं उसे देखने के बाद आप यह कह सकते हैं कि सरकारी दावे चाहे जो भी हो लेकिन हकीकत उससे बिल्कुल अलग है। ‘ख़बर अब तक’ की टीम लगातार किसानों से एमएसपी (MSP) पर धान और गेहूं की खरीद का सच जानने के लिए गहन पड़ताल कर रही है। धान के बाद गेहूं खरीद में भी कई चौंकाने वाले मामले सामने आ रहे हैं।

दरअसल ‘ख़बर अब तक’ के पड़ताल में यह सच सामने आया है कि देवरिया जिले के धतुरा खास गांव के 220 किसानों ने धान खरीद हेतु पंजीकरण करवाया था। सबसे हैरान करने वाली बात यह है कि इन 220 किसानों में से 120 किसानों ने अपने पंजीकरण में जो जमीन दिखाया है उसका खाता नं0 00906 है। ‘ख़बर अब तक’ के पास जो दस्तावेज मौजूद हैं उसके मुताबिक इन किसानों ने खाता संख्या 00906 वाली जमीन पर कई हजार कुंतल धान और गेहूं पैदा किया और उसे सरकार को भी बेच दिया। राजस्व रिकार्ड के मुताबिक खाता नं0 00906 के असली मालिक उधोपुर के रहने वाले सुबेदार हैं और इनके नाम 227 हेक्टेयर (लगभग 560 एकड़) जमीन है। खाता नं0 00906 का सच जानने के लिए ‘ख़बर अब तक’ की टीम जब उधोपुर पहुची तो वहां पता चला कि सुबेदार तो 3 साल पहले ही स्वर्ग सिधार चुके हैं। सुबेदार के परिवार की हालत यह है कि सरकारी राशन की दुकान से जो गेहूं और चावल मिलता है उसी के सहारे किसी तरह परिवार चलता है। सुबेदार के परिवार वालों ने ‘ख़बर अब तक’ को बताया कि जिस जमीन पर 120 किसानों ने कई हजार कुंतल धान और गेहूं पैदा करके सरकार को बेचा है हकीकत में वह जमीन तो 1 बीघा भी नहीं है।

सरकारी आकड़ों के मुताबिक धतुरा खास की निशा देवी, रीमा देवी, अवधेश राजभर, विनय कुमार यादव, शत्रुधन कुमार यादव, प्रमोद कुमार यादव, संजय, हीरालाल जैसवाल, पंकज चौहान, भृगुन, हरिनाथ पासवान, केशव कुमार यादव, गुड्डी देवी, मिथलेश कुमार यादव, रिमझिम देवी, संगीता देवी, सुबोध कुमार यादव, विजय पांडे, श्रवण कुमार, टूनटून, रामनरेश यादव, गिरजेश यादव, नीतू, शेषनाथ यादव, अंकिता सिंह, रामनयन यादव, सतीश समेत करीब 120 किसानों ने खाता नं0 00906 वाली जमीन पर कई हजार कुंतल धान और गेहूं पैदा करके सरकार को बेचा है। एक ही जमीन पर 120 किसान खाद्य एवं रसद विभाग की वेबसाइट पर अपना पंजीकरण करवाते हैं। तहसील से इसका सत्यापन भी करा लेते हैं और आसानी से अलग-अलग क्रय केन्द्रो पर धान और गेहूं भी बेच देते हैं लेकिन इसकी भनक किसी भी अधिकारी और कर्मचारी को नहीं लग पाता है। फिलहाल ‘ख़बर अब तक’ के खुलासे के बाद अब संबंधित अधिकारी जांच की बात कह रहे हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *