लखनउ। IPS अमिताभ ठाकुर को धमकाने के मामले में सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव को बड़ी राहत मिली है। अमिताभ ठाकुर की ओर से सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव पर दर्ज कराए गए धमकी के मामले में पुलिस ने फिर से अंतिम रिपोर्ट लगा दी है। इसके साथ ही पुलिस ने मुलायम को दोषी नहीं मानते हुए अमिताभ ठाकुर पर फर्जी FIR दर्ज कराने का आरोप लगाया है और धारा 182 के तहत कार्यवाही की संस्तुति भी की है।
12 अक्टूबर 2018 को सीजेएम लखनऊ को भेजी अपनी आख्या में विवेचक सीओ बाजारखाला अनिल कुमार यादव ने कहा है कि 26 जुलाई 2018 के सीजेएम कोर्ट के आदेश पर वे 4 अगस्त 2018 को 3/111, सुशांत गोल्ड सिटी, अंसल कॉलोनी, थाना गोसाईगंज स्थित मुलायम सिंह के आवास गए थे। मुलायम सिंह ने अपनी आवाज का नमूना देने से इंकार कर दिया। हालांकि, उन्होंने स्वीकार किया कि यह उन्हीं की आवाज है। विवेचक ने कहा कि मुलायम सिंह ने बताया कि मैंने सिर्फ बड़े होने के नाते अमिताभ को समझाया था, मेरी मंशा उन्हें धमकी देने की नहीं थी। अमिताभ मामले को बढ़ा-चढ़ा कर आरोप लगा रहे हैं। विवेचक ने कहा कि तमाम विवेचना के बाद अपराध के समर्थन में सुसंगत साक्ष्य नहीं होने के कारण मुकदमे में पूर्व में भेजे गए अंतिम रिपोर्ट का समर्थन किया जाता है। साथ ही, फर्जी अभियोग दर्ज कराये जाने के संबंध में अमिताभ ठाकुर के खिलाफ धारा 182 आईपीसी में कार्रवाई की संस्तुति की जाती है।
गौरतलब है कि इससे पहले भी उपनिरीक्षक कृष्णानंद तिवारी ने इस मामले में 12 अक्टूबर 2015 को अंतिम रिपोर्ट पेश की थी, जिस पर अमिताभ ठाकुर ने प्रोटेस्ट वाद दायर किया था। इस पर तत्कालीन सीजेएम संध्या श्रीवास्तव ने 20 अगस्त 2016 को अंतिम रिपोर्ट को निरस्त करते हुए दोनों पक्ष के आवाज के नमूने ले कर विधि विज्ञान प्रयोगशाला में परीक्षण करवाने का आदेश दिया था।